यथार्थवाद के साहित्य-सूर्य -मुंशी प्रेमचंद

वर्तमान युग में तकनीकि के अदभुत प्रयोग और प्रगति ने संपूर्ण विश्व को एकसूत्रता में बांधने का अभूतपूर्व कार्य किया है परंतु आधुनिक युग में