क्या भाजपा के गांधीपरिवार का कैरियर अब खत्म हो चुका है ? यह सवाल इसलिये उठ रहा है क्योकि पिछले आठ बार से सांसद रहीं मेनका गांधी उत्तरप्रदेश के सुल्तानपुर लोकसभा सीट से चुनाव हार गईं है तो मोदी सरकार में बगावत के तेवर लिये वरूण गांधी को भाजपा ने इस बार पीलीभीत से टिकिट भी नहीं दिया था । भाजपा में शुरूवाती दौर में वरूण गांधी कई महत्वपूर्ण पदों पर रहे थे लेकिन अब वे एक सामान्य कार्यकर्ता है। लंबे अरसे के बाद मेनका गांधी और वरूण गांधी दोनो सांसद नहीं है और भाजपा के साथ इनका तालमेल भी बिगडा हुआ है अब आगे भाजपा के गांधी परिवार का राजनैतिक कदम क्या होगा यह देखना दिलचस्प होगा।
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